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आज दूसरे नवरात्र में मां ब्राह्मचारिणी पर विशेष लेख आप सभी को नवरात्रि के पावन पर्व पर हार्दिक शुभकामनाए।--- ज्ञानेश कुमार वार्ष्णेय

आज दूसरे नवरात्र में मां ब्राह्मचारिणी पर विशेष लेख।--- ज्ञानेश कुमार वार्ष्णेय

नौ देवियों में आज माँ के दूसरे स्वरूप ब्रह्मचारिणी की पूजा का दिन है जिसका अर्थ है  ब्रह्मा का आचरण अर्थात तप का आचरण करने वाली देवी।
आज दूसरे नवरात्र में मां ब्राह्मचारिणी पर विशेष लेख।--- ज्ञानेश कुमार वार्ष्णेय

मां के इस रूप अर्थात ब्रह्मचारिणी का संबंध तपस्या से है मां का यह रूप अपने भक्तों को अनंत फल देने वाला है इस रूप की उपासना से तप त्याग वैराग्य सदाचार व संयम व्यक्ति में परिलक्षित होने लगते हैं मां के इस रूप के दाऐ हाथ में माला सुशोभित है और बाएं हाथ में कमंडल धारण किया हुआ है पूर्व जन्म में इस देवी ने हिमालय के यहां पुत्री के रूप में जन्म लिया था और नारद जी से भगवान शंकर के बारे में सुनकर उन्हें पति रूप में प्राप्त करने के लिए घोर तपस्या की थी इसी कारण यह देवी तपश्चारिणी व ब्रह्मचारिणी कहलाती है 1000 वर्षों तक घोर तपस्या फल फूल खाकर की और फिर 100 वर्षों तक जमीन पर उपजे शाक पर निर्भर रहीं फिर अनेक वर्षों तक माँ ने खाना बंद कर दिया यह खुले आकाश में धूप धूल आँधी वर्षा पाला आदि झेलते हुए तपस्यारत रहीं। इसके बाद फिर 3000 वर्षों तक बेलपत्र सेवन करके आराधना करती रही।इसके बाद उन्होंने बेलपत्र खाना भी बंद कर दिया इस प्रकार कई हजार वर्जन तक निर्जल और निराहार रहकर मां जगदंबा ने शिवजी की उपासना की तब इनका नाम अपर्णा हो गया बहुत कठिन तपस्या की कारण शरीर छोड़ हो गया था इस घोर तपस्या की ब्रह्मा आदि ऋषि मुनियों ने बड़ी ही सराहना की और उन्हें उन्होंने मां को भगवान चंद्रमौली शिव को पाने का भर प्रदान किया उन्होंने तब छोड़ कर घर जाने को कहा कि जल्दी ही भगवान शिव से आपकी भेंट होगी आपके पिता आपको बुलाने आ रहे हैं ।
आज दूसरे नवरात्र में मां ब्राह्मचारिणी पर विशेष लेख।--- ज्ञानेश कुमार वार्ष्णेय

            सअतः यह मां का रूप संपूर्ण जीवन में तपस्या रहा और कभी भी किसी आंधी तूफान, वन के प्राणियों से नहीं घवराया और समाज को अपने व्रत पर अडिग रहने की प्रेरणा देता है यह मां  बह्मचारिणी अपनी कृपा से अपने भक्तो को तप, त्याग, सदाचार,ज्ञान,वैराग्य, के द्वारा सम्पूर्ण रूप से समर्थ बना कर उसे ॠद्धि सिद्धि प्रदान करती है।
       अंत मे  इन नवरात्रियो मे आपके व आपके परिवार के सुख समृद्धि की शुभकामना माँ से करता हुआ मै
                                    ज्ञानेश कुमार वार्ष्णेय
                                             सम्पादक
                            नमामि गंगे न्यूज पोर्टल व न्यूज चैनल
                        आपसे अपनी इस पोस्ट पर विदा लेता हू
                                          जय माता दी

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